Sunny N Kaushik
टूलकिट के मामले में पर्यावरण कार्यकर्ता दिशा रवि को आखिरकार 9 दिन बाद 23 फरवरी को कोर्ट से जमानत मिल ही गई है। उन्हें एक लाख रूपए के मुचलके पर जमानत मिली है। दिल्ली की पटियाला हाउस कोर्ट ने उन्हें जमानत दी है। हालांकि पुलिस ने उनका 4 दिन का रिमांड मांगा था, पर अदालत ने पुलिस के सारे तर्क नकार दिए।
अदालत ने कहा कि टूलकिट बनाना, एडिट करना या साझा करना अपराध नहीं है। दिशा के न तो खालिस्तानी कनेक्शन का कोई सबूत मिला है और न 26 जनवरी की हिंसा भड़काने के। हिंसा में शामिल किसी व्यक्ति ने दिशा से संपर्क होने की बात नहीं कही। अदालत ने कहा कि 21 साल की दिशा का कोई आपराधिक रिकॉर्ड नहीं है। शांतनु का 26 जनवरी को दिल्ली आना भी अपराध की श्रेणी में नहीं आता। सरकार की आलोचना करना अपराध नहीं माना जा सकता। कोर्ट ने कहा कि पुलिस ऐसा कोई सबूत पेश नहीं कर पाई जिससे दिशा की अलगाववादी सोच दिखती हो। दिल्ली पुलिस के सबूत आधे-अधूरे हैं। हालांकि कोर्ट ने यह भी कहा कि दिशा पुलिस जांच में सहयोग करती रहें और अदालत की अनुमति के बिना विदेश न जाएं।
जमानत मिलने के बाद दिशा अपनी बहन के गले लगकर भावुक हो गईं। उनकी मां ने कहा कि उनकी बेटी ने कोई गलत काम नहीं किया है। वह बहुत बहादुर है। उन्होंने इस बुरे वक्त में साथ देने वाले सभी व्यक्तियों का धन्यवाद किया। दिशा को 14 फरवरी को गिरफ्तार किया गया था। पुलिस ने उन्हें देशद्रोही गतिविधियों में शामिल, खालिस्तानी आतंकवादियों से मिले होने तथा 26 जनवरी हिंसा की मास्टरमाइंड बताया था। कोर्ट के आदेश के बाद दिशा को तिहाड़ जेल से रिहा कर दिया गया।